चंदन लकड़ी का बिजनेस करके लाखो कैसे कमाए 2023 और 2024 के भी काम आएगा

 
 चंदन लकड़ी का बिजनेस करके लाखो कैसे कमाए 2023 और 2024 के भी काम आएगा

 
सफेद चंदन की खेती: आजकल युवाओं का रुझान खेती
की ओर बढ़ गया है । वहीं कुछ लोग नौकरी छोड़ने के बाद भी  खेती में अपनी  किस्मत आजमा  रहे हैं । ऐसी ही एक फसल है, जो  किसानों  को  कम लागत  में ज्यादा मुनाफा
देने  वाली  साबित हो  रही है । और वह है सफेद चंदन की
खेती. अगर आप  मोटी कमाई  करना  चाहते  हैं तो सफेद चंदन  की  खेती  कर  सकते  हैं । इस  खेती से आप लंबी
अवधि में बंपर  मुनाफा  कमा सकते हैं. आप को बस कुछ सालों तक इंतजार करना होगा.

 
इन कार्यों में होता है उपयोग
भारत में चंदन को पवित्र लकड़ी माना जाता है सफेद चंदन का उपयोग विदेशों में औषधीय  निर्माण, साबुन, अगरबत्ती, कंठी  माला, फर्नीचर, लकड़ी  के खिलौने,  इत्र,  अगरबत्ती
और भोजन बनाने में किया जाता है। पूजा में तिलक लगाने से लेकर ब्यूटी  प्रोडक्ट्स  और परफ्यूम तक में इसका खूब इस्तेमाल  होता है । चंदन में  कई  औषधीय  गुण  होते  हैं। आयुर्वेद में चंदन का व्यापक रूप से उपयोग किया जाता है
 चंदन के पौधे  को पेड़  बनने में 10 से 12 साल  का समय लगता  है। तो  आप को  पता  होना  चाहिए अगर आप भी
अपने खेत  में सफेद  चंदन की  खेती  करना  चाहते  हैं तो आपको पता होना चाहिए कि आपका सफेद चंदन का पेड़ 15 साल  बाद ₹7 लाख  में बिक सकता  है । सफेद चंदन
की खेती पूरे  भारत में  की जा सकती है इस । सफेद चंदन की खेती  उन क्षेत्रों  में करनी  चाहिए । जहां  की  मिट्टी का
पीएच  स्तर 6 से 8.5 के बीच हो । मिट्टी में जलभराव नहीं होना चाहिए और  बर्फ नहीं गिरनी चाहिए। रेतीली मिट्टी में चंदन के पौधे की खेती नहीं की जा सकती।चंदन की खेती देश के उत्तरी भाग में भी की जा रही है।

सफेद चंदन की खेती की खास बात यह है कि इसकी खेती बंजर भूमि पर भी की जा सकती है। चंदन के पौधे को कम पानी की  जरूरत  होती है। सफेद चंदन  के पेड़ की ऊंचाई
19 से 24 फीट तक हो सकती है।सफेद चंदन को बढ़ने के लिए एक  सहायक  पौधे की  आवश्यकता होती है । सफेद चंदन के लिए यह सहायक पौधा अरहर हो सकता है..
 
चंदन के साथ अरहर
 चंदन के पौधे के विकास में अरहर बहुत सहायक होता है अगर आप चंदन की खेती के  साथ अरहर की खेती करते
हैं तो इससे चंदन को नाइट्रोजन मिलती है और इसके तने और जड़ की लकड़ी में सुगंधित तेल का अंश बढ़ जाता है अगर आपके  पास 1 एकड़  जमीन  है और आप खेती में अपनी  किस्मत  आजमाना चाहते हैं । तो  आप चंदन की
खेती कर सकते है

एक पेड़ में कितना मुनाफा होता है
 चंदन के पौधे को पेड़  बनने  में 10 से 12 साल का समय लगता है । तो आप को  पता  होना  चाहिए अगर आप भी
अपने खेत  में सफेद  चंदन की  खेती  करना  चाहते  हैं तो आपको पता होना चाहिए कि आपका सफेद चंदन का पेड़ 15 साल बाद ₹700000 में बिक सकता है। कई किसानों का  कहना  है । कि  सफेद चंदन  के पेड़ लगाने से उन की आमदनी  काफी  बढ़ गई है।  सफेद चंदन के एक किलाे में 434 पौधे लगते हैं । एक  पौधा  आप को 12-15 साल में
कम से कम  ₹ 5 से 7 लाख  की  आमदनी  दे  सकता  है।
की फार्मिंग से आप और भी काम कर सकते हैं । दरअसल आप  इस के पेड़  को पूरे खेत  में भी  लगा  सकते  हैं और
अगर आप चाहें तो इसे खेत के किनारे पर लगाकर खेत के अंदर कुछ और काम भी कर सकते हैं. विशेषज्ञों का कहना है कि चंदन के एक पेड़ से किसान 5 से 7 लाख रुपये तक की कमाई कर सकते हैं.
 
 
इन बातों का रखें ध्यान
 चंदन  की खेती के लिए  कुछ बातों का ध्यान रखना बहुत जरूरी है । इसे अधिक  पानी की  आवश्यकता  नहीं होती इसलिए इसे लगाते  समय इस  बात का ध्यान रखें कि इसे निचले इलाकों में नहीं लगाना चाहिए। चंदन का पौधा एक परजीवी पौधा है। इसलिए इस के साथ एक मेजबान पौधा
भी लगाना जरूरी है । वह अकेले  जीवित नहीं रह सकता. चंदन का पेड़ लगाने के बाद उसके आसपास साफ-सफाई का विशेष ध्यान रखना होता है।
 
 
चंदन का पेड़ कब लगाएं?
 वैसे तो आप चंदन का पेड़ कभी भी लगा सकते हैं लेकिन पौधा लगाते समय इस  बात का ध्यान रखें कि पौधा दो से ढाई साल पुराना हो। दरअसल,इस स्थिति में इस के खराब होने की कोई संभावना नहीं होती है । इसके बाद आप इसे किसी भी मौसम में लगा सकते हैं.
 
पेड़ कैसे तैयार होता है?
 चंदन का पेड़ लगाने के बाद पहले 8 साल तक इसे किसी बाहरी सुरक्षा की जरूरत नहीं होती क्योंकि तब तक इसमें खुशबू  से  नहीं  होती ।  लेकिन  जैसे  ही इस  की  लकड़ी
पकने  लगती है । तो इस में से बदबू  आने  लगती  है। इस
समय इसे सुरक्षा की जरूरत है । इसके लिए आप खेत की घेराबंदी करा लें. चंदन की  खेती  के लिए  आप को ज्यादा निवेश  की जरूरत  नहीं है । चंदन का पौधा आपको 100 रुपये से 130 रुपये तक मिल जाएगा इसके अलावा इसके साथ  लगाए गए  मेज़बान के पौधे की  कीमत भी लगभग
50 से 60 रुपए होती है.

 
चंदन सबसे महंगी लकड़ी है
 चंदन की खेती से फायदा होना लाजमी है क्योंकि इस की लकड़ी सबसे महंगी  लकड़ी मानी जाती है। इसकी बाजार कीमत  करीब 26 हजार से 30 हजार  रुपये प्रति किलो है इस  हिसाब  से किसान  को एक  पेड़ से 15 से 20 किलो लकड़ी आसानी से मिल जाती है. यानी एक पेड़ से 5 से 6 लाख रुपये  आसानी से  मिल जाते हैं. हालांकि, फिलहाल सरकार ने चंदन की लकड़ी की खरीद-बिक्री पर रोक लगा दी है. ऐसे में सरकार ही इसे खरीदती है. चंदन की खेती से फायदा होना लाजमी है क्योंकि इसकी लकड़ी सबसे महंगी लकड़ी  मानी जाती है । इस की बाजार  कीमत  करीब 26 हजार से  30 हजार रुपये  प्रति  किलो है ।  इस हिसाब से किसान को  एक पेड़  से 15 से 20 किलो लकड़ी आसानी
से मिल  जाती है ।  यानी  एक  पेड़  से 5 से 6 लाख रुपये आसानी  से मिल जाते हैं । हालांकि, फिलहाल सरकार  ने चंदन की लकड़ी की खरीद-बिक्री पर रोक लगा दी है. ऐसे
में सरकार ही इसे खरीदती है. 
 
 
इसका उपयोग कहां किया जाता है?
 चंदन की खेती से फायदा होना लाजमी है क्योंकि इस की लकड़ी सबसे महंगी लकड़ी मानी जाती है । इसकी बाजार कीमत करीब 26 हजार  से 30 हजार  रुपये प्रति किलो है इस हिसाब  से किसान  को एक  पेड़ से  15 से 20 किलो लकड़ी आसानी से मिल जाती है. यानी एक पेड़ से 5 से 6 लाख रुपये आसानी से  मिल जाते हैं।  हालांकि, फिलहाल सरकार ने चंदन की लकड़ी की खरीद-बिक्री पर रोक लगा दी है. ऐसे में सरकार ही इसे खरीदती है। चंदन के पौधे की मांग बहुत ज्यादा है चंदन का प्रयोग ज्यादातर इत्र में किया जाता है। इस के अलावा चंदन  का उपयोग आयुर्वेद में भी खूब किया जाता है इसे तरल रूप में भी तैयार किया जाता है.इसके अलावा आपको बता दें कि सौंदर्य उत्पादों के रूप में चंदन की मांग बहुत अधिक है।

 
चंदन की खेती की बाजार में मांग
 चंदन एक ऐसा  उत्पाद है जो बहुत उपयोगी होने के साथ
साथ बहुत कीमती भी है। इसका कारण यह है कि बाजार
में इसकी  मांग अधिक है । और उस की तुलना में इस का उत्पादन कम है. इसकी मांग देश में ही नहीं बल्कि विदेशों
में भी  काफी  ज्यादा है । भारत में हर  साल  कम से कम 7,000 से 8,000 टन चंदन का इस्तेमाल होता है, लेकिन अगर इसके उत्पादन की बात  करें तो यह हर साल केवल 100 टन ही होता है।

 
चंदन का बाजार मूल्य
 बाजार में चंदन की कीमत की बात करें तो यह 6 हजार से 12 हजार रुपये प्रति किलो  की दर से बिकता है. चंदन की प्रजाति पूरी दुनिया में चंदन की कुल 16 प्रजातियाँ हैं।जिन
में सैंटलम एल्बम बहुत  सुगंधित होता है ।और इसमें सबसे अधिक  औषधीय  गुण  भी  पाए  जाते  हैं । चंदन  की 16 प्रजातियों में बिस्तर सफेद चंदन,  चंदन,  अबायद  श्रीखंड, सुखद   चंदन  आदि  शामिल हैं । और इन की खेती सबसे
ज्यादा की जाती है।

 चंदन की खेती में मिट्टी का चयन
 चंदन की खेती के लिए  किसी  विशेष प्रकार की मिट्टी की आवश्यकता  नहीं  होती है । इसे सभी  प्रकार  की मिट्टी में
किया जा  सकता है । लेकिन  कुछ मिट्टी के प्रकार जिन में चंदन की  खेती  अच्छे  तरीके से  की जा  सकती है उन में रेतीली मिट्टी, चिकनी मिट्टी,लाल मिट्टी, काली दानेदार मिट्टी आदि शामिल हैं।

 
चंदन की खेती के लिए उपयुक्त स्थान
 चंदन की खेती भारत में कुछ स्थानों को छोड़कर कहीं भी की जा सकती है।वो जगहें हैं कश्मीर,लद्दाख और चंदन की खेती के लिए  उपयुक्त स्थान चंदन की खेती भारत में कुछ स्थानों को छोड़कर कहीं भी की जा  सकती है। वो जगहें हैं कश्मीर,लद्दाख और राजस्थान का जैसलमेर आदि यहां का वातावरण  और मिट्टी  दोनों  ही  चंदन  की  खेती   के लिए उपयुक्त नहीं हैं.. क्योंकि  यहां  पानी  जमता  है । और बर्फ गिरती है और यहां की मिट्टी रेतीली है । इसलिए इन जगहों पर चंदन की खेती अच्छे से नहीं हो पाती है । लेकिन भारत
में चंदन  की  खेती  के लिए  सबसे  उपयुक्त  जगह  पश्चिम
बंगाल है, वहां का  वन क्षेत्र  इस के लिए सबसे उपयुक्त है।
 काले गेहूं की खेती से  होती है सोने  जैसी कमाई, जानिए कैसे?

 चंदन की खेती करने का तरीका
 आपने मिट्टी का चयन कर  लिया है, उस के बाद आप को चंदन की खेती के लिए पौधे का चयन करना है इसके लिए निम्नलिखित बातों का ध्यान रखें -

 • एक एकड़ भूमि में अधिकतम 375 सफेद चंदन के पौधे लगाए जा सकते हैं।
 
• चंदन के पौधों  में अधिक  पानी की  सिंचाई नहीं होती है
 करना  ही पड़ता है ।  इसलिए इसके चंदन के खेत में मेड़ बनाकर पौधा रोप  दिया जाता है ।  ये मेड़ कम से कम 10 फीट की दूरी  पर बनाये जाते हैं। मेड़ पर लगाए जाने वाले चंदन के पौधों के  बीच की  दूरी एक  दूसरे  से 12 फीट से
कम नहीं होनी चाहिए।
 
• एक बात का  सबसे ज्यादा ध्यान रखना है । कि चंदन के पौधे कभी भी अकेले नहीं लगाने चाहिए ।  नहीं तो वे सूख जाते हैं। क्योंकि चंदन एक अर्ध-परजीवी पौधा है । इस का मतलब यह है। कि  चंदन के  पौधे का  आधा  जीवन काल उसका अपना जीवन होता है। और आधा हिस्सा दूसरे पौधे की जड़ पर निर्भर करता है।
 
• जिस क्षेत्र में चंदन की खेती होती है। वहां कुछ साथी पौधे लगाना जरूरी है। क्योंकि ये चंदन के विकास में मदद करते हैं ।  इसलिए सफेद  चंदन के 375 पेड़ों  के आसपास 125 अन्य साथी  पौधे लगाना  जरूरी है। ये साथी पौधे हैं । लाल चंदन, कैसुरीना,  देसी नीम,  मीठी नीम  और सहजन। पौधे आदि हो सकते हैं, यह सर्वोत्तम है विकल्प है.

 चंदन का पौधा या बीज कहां से मिलेगा
 चंदन की खेती के लिए बीज या पौधे कोई भी  लगा सकता है। तुम दोनों के लिए यहाँ से प्राप्त करें चंदन की खेती करने के लिए बीज या पौधा कोई भी लगा सकता है। इस के लिए आप दोनों में कुछ भी खरीद सकते हैं । इसके बीज या पौधे खरीदने  के लिए  आप को केंद्र  सरकार  के लकड़ी विज्ञान
और प्रौद्योगिकी संस्थान, जो बेंगलुरु में स्थित है । से संपर्क करना होगा। ये आपको यहां से मिल जाएंगे. इसके अलावा भारत  के उत्तर  प्रदेश में  इस  की एक  नर्सरी भी है  जहां आप को इस की  जानकारी  और  पौधे दोनों  मिल जाएंगे। इसके लिए आपको  प्रसिद्ध अल्बासन  एग्रोफोरेस्ट्री प्राइवेट लिमिटेड से संपर्क करना होगा।

 इसलिए चंदन की खेती  किसानों के लिए फायदे का सौदा हो सकती है. व्यावसायिक  दृष्टि से देखा जाए तो चंदन की खेती  आंध्र प्रदेश, मध्य प्रदेश, तेलंगाना, गुजरात, महाराष्ट्र, बिहार,  कर्नाटक,  तमिलनाडु आदि  किसी  भी   राज्य  में किसान  कुछ  विशेष  सावधानियों के  साथ  कर सकते हैं। इसलिए  किसानों के लिए  यह  पैसा  कमाने  का  सुनहरा
मौका है.
 
FAQ
 
 1 किलो चंदन की कीमत क्या है?

 1 किलो  सफेद चंदन  की लकड़ी 25-30,000 रुपये में बिकती है जबकि एक पेड़ आप को 6-7 लाख रुपये तक
की आमदनी दे सकता है भारत में चंदन को पवित्र लकड़ी माना जाता है।
 
चंदन का पौधा कहां से खरीदें?
 चंदन का पौधा आपको अपने आसपास किसी भी बड़ी नर्सरी में आसानी से मिल जाएगा। इसके अलावा अगर आपके आसपास कहीं चंदन की खेती होती है. तो आप किसान भाई से भी चंदन का पौधा खरीद सकते हैं. 
 

 किलो के हिसाब से कैसे बिकती है चंदन की लकड़ी?

 चंदन की लकड़ी सबसे महंगी लकड़ी मानी जाती है। इसकी बाजार कीमत करीब 26 हजार से 30 हजार रुपये प्रति किलो है. एक पेड़ से किसान को 15 से 20 किलो लकड़ी आसानी से मिल जाती है. ऐसे में उन्हें एक पेड़ से 5 से 6 लाख रुपये आसानी से मिल जाते हैं. 

 चंदन कटाई पर प्रतिबंध
 2002 तक, व्यक्तियों द्वारा चंदन की खेती पर प्रतिबंध लगा दिया गया था। आजकल हम चंदन के पेड़ों की खेती तो कर सकते हैं, लेकिन चंदन की कटाई और कटाई अभी भी गैरकानूनी है। इसके साथ ही चंदन की लकड़ी का उपयोग करना या उसे खुले बाजार में बेचना भी गैरकानूनी है।
 
कौन सा चंदन महंगा है लाल या सफेद?
 बाजार में चंदन की लकड़ी की कीमत सबसे महंगी है. लाल चंदन की बाजार कीमत/Red Sandal Price 2021 26 हजार रुपये से 30 हजार रुपये प्रति किलो तक है. वहीं सफेद चंदन/सफेद चंदन की कीमत लाल चंदन की कीमत से थोड़ी कम होती है। एक पेड़ से किसान को 15 से 20 किलो चंदन मिलता है। 


 चंदन का जंग
ल एक खतरनाक जगह है; आपको एक पेड़ पर कम से कम एक दर्जन जहरीले सांप मिल जाएंगे

टिप्पणियाँ

लोकप्रिय पोस्ट